बिहार: सड़क पर घूम रहीं मार्शल आर्ट सीखी हुईं 'शेरनियां', मनचलों पर नजर


बिहार के कैमूर जिले में लड़कियों से छेड़छाड़ की घटनाओं पर लगाम के लिए एक विशेष शेरनी टीम लगाई गई है। टीम में 30 महिला पुलिसकर्मी सदस्य हैं, जिन्होंने मार्शल आर्ट का प्रशिक्षण लिया हुआ है।




  • कैमूर पुलिस ने मनचलों पर नकेल कसने के लिए बनाया 30 सदस्यीय शेरनी स्क्वॉड

  • स्क्वॉड में सिर्फ महिला पुलिसकर्मी, सभी ने ले रखी है मार्शल आर्ट की स्पेशल ट्रेनिंग

  • यह स्क्वॉड सार्वजनिक स्थानों पर सादे कपड़ों में पैट्रोलिंग कर मनचलों पर रख रहा नजर



 

रमाशंकर, कैमूर
बिहार के कैमूर जिले में लड़कियों से छेड़छाड़ की घटनाओं पर लगाम के लिए एक विशेष टीम लगाई गई है। इस टीम में 30 महिला पुलिसकर्मी हैं, जिन्होंने मार्शल आर्ट की ट्रेनिंग ले रखी है। ये महिला पुलिसकर्मी सार्वजनिक स्थानों पर सादे कपड़ों में पैट्रोलिंग कर मनचलों पर नजर रख रही हैं। कैमूर पुलिस ने छेड़खानी की शिकायतों में बढ़ोतरी के बाद यह फैसला लिया है।


एसपी दिलनवाज अहमद ने कहा, 'कई लड़कियों के पैरंट्स हमारे पास आए और छेड़छाड़ की शिकायत की। उन्होंने हमसे अपील की कि हम इस समस्या से निपटने के लिए कुछ करें, जिससे लड़कियां बिना डरे बाहर निकल सकें।' बता दें कि जनवरी से लेकर जून तक कैमूर में रेप के 15 केस और छेड़छाड़ के 42 केस दर्ज हुए हैं।

टीम में शामिल होने खुद आगे आईं महिला पुलिसकर्मी

पैट्रोलिंग करने वाली इस टीम का नाम शेरनी रखा गया है और इसमें शामिल महिला पुलिसकर्मियों की उम्र 25-30 साल के बीच है। जब महिला पुलिसकर्मियों को ऐसी कोई टीम बनाए जाने के बारे में पता चला, तो उन्होंने झट से इसे जॉइन करने की इच्छा जाहिर की। इनमें से कई महिला पुलिसकर्मी खुद भी कभी ना कभी ऐसी किसी घटना का शिकार रही हैं। शेरनी टीम की एक सदस्य ने हमारे सहयोगी टाइम्स ऑफ इंडिया से कहा, 'मैं जब स्कूल में थी तो अकसर कुछ लड़के पीछा करते और कॉमेंट करते। मैं तब चुप रहती थी। मगर अब नहीं रहूंगी और न ही अपने जैसी लड़कियों को इनका शिकार होने दूंगी।'

पहले ही दिन दबोचे तीन मनचले

टीम के गठन के पहले ही दिन 22 अक्टूबर को इस टीम ने छेड़खानी करते 3 लड़कों को हिरासत में लिया और थाने ले आई। वहां इनके मां-बाप को बुलाकर लिखित माफीनामा लिया गया और निजी मुचलके पर छोड़ दिया गया। टीम की प्रशंसा पुरुष पुलिसकर्मी भी करते नहीं थकते। दरोगा सत्येंद्र कुमार ने कहा, 'यह पहली बार है कि ऐसी किसी स्क्वॉड का गठन हुआ है। यह महिलाओं के खिलाफ अपराध कम करने में मील का पत्थर साबित होगा।'


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