लखीमपुर हिंसा: मृतकों के परिवारों को 45-45 लाख रुपये और सरकारी नौकरी, इन 4 शर्तों पर हुआ समझौता

लखीमपुर हिंसा को लेकर किसानों और अधिकारियों के बीच वार्ता के बाद समझौता हो गया है। सरकार और किसानों के बीच छह दौर की वार्ता के बाद सहमति बन पाई। योगी सरकार ने मृतकों के परिवार को 45 लाख रुपए का मुआवजा देने का ऐलान किया है। मरने वालों के परिवार के एक सदस्य को सरकारी नौकरी दी जाएगी। इसके साथ ही घायलों को 10 लाख दिए जाएंगे। वहीं घटना की न्यायिक जांच करने का वादा भी किया गया है। यह जांच हाईकोर्ट के रिटायर्ड जज करेंगे। लखीमपुर खीरी में रविवार को हुई हिंसा को पूरे प्रदेश बवाल मचा है। लखनऊ में लखीमपुर जाने से रोकने पर सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव सड़क पर ही धरने पर बैठ गए। अखिलेश ने कहा कि किसानों पर अंग्रेजों के शासन से भी ज्यादा जुल्म भाजपा सरकार कर रही है। उन्होंने केंद्रीय गृह राज्य मंत्री के इस्तीफे और किसानों को 2-2 करोड़ का आर्थिक सहायता देने की भी मांग की। इसके बाद पुलिस ने उन्हें हिरासत में ले लिया। वहीं प्रियंका खीमपुर जाते समय कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी को भी पुलिस ने हिरासत में ले लिया। उन्हें सीतापुर के गेस्ट हाउस में रखा गया है। यहां प्रियंका गांधी ने गेस्ट हाउस के कमरे में झाड़ू लगाकर विरोध जताया। उनका यह वीडियो वायरल हो रहा है। चार शर्तों पर हुआ समझौता 1-घटना की हाईकोर्ट के रिटायर्ड जज के कराई जाएगी न्यायिक जांच 2-मृतकों के परिवार के एक-एक सदस्य को योग्यता के अनुसार मिलेगी सरकारी नौकरी 3-मृतकों के परिवार को 45-45 लाख और घायलों को 10-10 लाख रुपये मिलेगा मुआवजा 4-जिनके खिलाफ एफआईआर दर्ज हुई है, उनके खिलाफ कानून सम्मत कार्रवाई होगी -सरकार की ओर से एडीजी लॉ एंड आर्डर प्रशांत कुमार और अपर मुख्य सचिव देवेश चतुर्वेदी तथा किसानों की ओर से भाकियू के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत के बीच वार्ता में बनी सहमति

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